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Water Meditation के साथ करें अपने शरीर का शुद्धिकरण
स्नान करने के पश्चात हम शारीरिक रूप से खुद को तरोताजा महसूस करते हैं। आलस्य का प्रभाव भी कुछ हद तक कम हो जाता है। वहीँ जैन परंपरा में ज्ञान के अतिचारों में वर्णित अस्वाध्याय के कारणों— यथा मल-मूत्र, वीर्य रक्त आदि अशुभ तत्वों की विशुद्धि भी हो जाती है, जिनके रहने पर स्वाध्याय नहीं किया जा सकता।